- Get link
- Other Apps
Featured post
- Get link
- Other Apps
सुबह हो या शाम
हर वक्त हड़बड़ी है,
आफत मेरी घड़ी है!
दीवार पर टँगी है
या मेज पर खड़ी है,
हाथों में बँध गई तो
सचमुच यह हथकड़ी है!
आफत मेरी घड़ी है!
सुबह-सुबह सबका
लिहाफ खींच लेती,
शालू पे गुस्सा आता
गर आँख मीच लेती।
कहना जरा न माने,
ऐसी ये सिरचढ़ी है!
आफत मेरी घड़ी है!
तैयार होकर जल्दी
स्कूल दौड़ जाओ,
शाम को घर आकर
थोड़ा सा सुस्ताओ।
फिर पढ़ने को बिठाती,
ये वक्त की छड़ी है!
आफत मेरी घड़ी है!
हर वक्त हड़बड़ी है,
आफत मेरी घड़ी है!
दीवार पर टँगी है
या मेज पर खड़ी है,
हाथों में बँध गई तो
सचमुच यह हथकड़ी है!
आफत मेरी घड़ी है!
सुबह-सुबह सबका
लिहाफ खींच लेती,
शालू पे गुस्सा आता
गर आँख मीच लेती।
कहना जरा न माने,
ऐसी ये सिरचढ़ी है!
आफत मेरी घड़ी है!
तैयार होकर जल्दी
स्कूल दौड़ जाओ,
शाम को घर आकर
थोड़ा सा सुस्ताओ।
फिर पढ़ने को बिठाती,
ये वक्त की छड़ी है!
आफत मेरी घड़ी है!
- Get link
- Other Apps
Comments
Post a Comment